Good Friday : गुड फ्राइडे मनाए जाने का इतिहास, और मनाने का तरीका | Future Point

Good Friday : गुड फ्राइडे मनाए जाने का इतिहास, और मनाने का तरीका

By: Future Point | 19-Apr-2019
Views : 8623Good Friday : गुड फ्राइडे मनाए जाने का इतिहास, और मनाने का तरीका

भारतवर्ष एक धर्मप्रधान देश है, जहां हर धर्म, जाति, वर्ग, और समुदाय के लोग रहते हैं भारतीय संविधान मे उन्हे बराबरी का दर्जा दिया गया है | यहाँ हर धर्म के लोगों के अलग अलग त्योहार हैं जिन्हे वह बहुत ही हर्षल्लास के साथ मनाते हैं उन्ही मे से ईसाई धर्म का एक पर्व है गुड फ्राइडे जिसको ईसाई समुदाय के लोग अपने प्रभु यीशु की याद मे मनाते है इसी दिन यीशु को क्रूस पर चढ़ाया गया था | इसलिए ईसाई समुदाय के लिए यह एक शोक का पर्व भी है |

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क्या है गुड फ्राइडे

19 अप्रैल 2019 को देश दुनिया मे गुड फ्राइडे का पर्व मनाया जाएगा | ईसाई धर्म समुदाय के बीच यह एक ऐसा पर्व है, जिसे शोक दिवस के रूप मे मनाया जाता है | गुड फ्राइडे को ब्लैक फ्राइडे, ग्रेट फ्राइडे और होली फ्राइडे भी कहा जाता है | इस पर्व को पवित्र सप्ताह के ईस्टर सनडे से पहले पड़ने वाले शुक्रवार को मनाते है | गुड फ्राइडे के दिन ही यीशु मसीह को क्रूस पर चढ़ाया गया था जिससे उनका निधन हो गया था इसलिए इसे ब्लैक फ्राइडे नाम दिया गया |

इशू मसीह को सूली पर लटकाने की वजह और इतिहास

आज से लगभग 2000 ईशा पूर्व येरुशलम(प्राचीन यहूदी राज्य का केन्द्र और राजधानी रहा है) के गॅलिली प्रांत मे यीशु मसीह लोगों को भाईचारा, मानवता, प्रेम, शांति और अहिंसा का उपदेश दे रहे थे | वहाँ की जनता यीशु मसीह से आकर्षित और प्रभावित होकर उन्हे परमपिता परमेश्वर का रूप मानने लगी और उनके विचारो को अपने दैनिक जीवन मे शामिल करने लगी |

यीशु मसीह की तरफ लोगों का यह प्रेम भाव और कर्मठता देखते हुए येरूशलम के झूठे अंधविश्वासी लोगों को उनसे ईर्ष्या होने लगी और वह मन ही मन यीशु मसीह से नफरत करने लगे | यीशु मसीह के प्रति लोगों का प्रेम दिन प्रतिदिन बढ्ने लगा इस लोकप्रियता जब झूठे लोगों से नागवार गुजरने लगी तब उन्होने रोम के शासक राजा पिलातूस के कान भरने शुरू कर दिये |


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राजा पिलातूस ने यीशु मसीह को घोर पापी और राजद्रोह की अवमानना का आरोप लगाते हुए म्रत्युदंड की सजा सुनाई | यीशु मसीह को क्रूस पर लटकाने से पहले उन्हे येरूशलम के लोगों के बीच कोड़ों से पिटवाया गया ,उसके बाद कांटो से बने ताज को यीशु के मत्थे मढ़ा गया| अंत क्रूस पर बेरहमी से कीली से उनके हाथ और पैर को ठोक कर लटका दिया गया |

''कहते है कि यीशु मसीह को लगभग छ; घंटों के लिए क्रूस पर लटकाया गया था और अंत के तीन घंटो मे पूरे येरूशलम शहर मे काला घोर अंधेरा छा गया और एक बिजली कि कड़कड़ाहट की तेज आवाज के साथ प्रभु यीशु ने प्राण त्याग दिये | जिस वक़्त प्रभु ने अपने प्राण त्यागे उस वक़्त एक भयंकर तूफान आया था जिससे यीशु मसीह की कब्र के पत्थर टूट गए और पास स्थित मंदिर में लगी पर्दा एक तेज रोशनी के साथ फटती चली गई''

गुड फ्राइडे मनाने के तौर तरीके

यीशु मसीह को उनकी मानवता के कारण क्रूस पर लटकाया गया था | गुड फ्राइडे गॉड यीशु की याद मे मनाते हैं और उनके द्वारा मानव जगत के लिए दी गई कुर्बानी को याद किया जाता है | लेकिन गुड फ्राइडे वाले दिन चर्च के तरीके बाकी दिनो से कुछ अलग हो जाते हैं जैसे कि उस दिन सभी लोग काले कपड़े पहन कर चर्च मे जाते हैं | आज के दिन चर्च मे मोमबत्ती नही जलायी जाती और बहुत ही शांति के साथ प्रार्थना कि जाती है| कुछ लोग गुड फ्राइडे के दिन बीजारोपण करते है, कोई किसी दिन दुखी को दान करता है , इस दिन केवल प्रभु की आराधना के अलावा किसी तरह का हर्ष उल्लास नही मनाते |